Opinion by Ajay Kumar Sharma | Opined

Ajay Kumar Sharma
Ajay Kumar Sharma Oct 2, 2020

#मनुस्मृति
सेवक लोग अपनी छायाकेसमान अर्थात् अपने से अभिन्न होतेहै!
पुत्री अत्यंत कृपा की पात्रहै!
सेवक व कन्या क्रोधावॆश मे कभीकुछ कहभी दे तो उनके कथन सहन करलेनेचाहिए!
उन पर बिगडनानहीचाहिए!
#श्लोक
छाया स्वो दासवर्गश्च दुहिताकृपणं परम्!
तस्मादेतैरधिक्षिप्त सहेताअसंज्वर: सदा!!
#culture